अलवर (मनीष अरोडा़): धौलागढ़ देवी माता मंदिर का विवाद इतना तूल पकड़ गया कि अधिकारियों ने 11 घंटे की बैठक करने के बाद बड़ी मुश्किल से इस विवाद को सुलझाया। मंदिर के पुजारियों ने जिला कलेक्टर को ज्ञापन देकर तहसीलदार और मामले से संबंधित कर्मचारियों के खिलाफ कार्यवाही की मांग की थी। धौलागढ़ मेले में ड्यूटीरत राजस्व कर्मियों द्वारा पुलिस पर मारपीट के मामले में धरना दिया। पंडो ने जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंप तहसीलदार व अन्य के विरुद्ध कार्रवाई की मांग की थी।पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों की उपखंड मुख्यालय पर देर रात्रि 11 घंटे कई दौर चली वार्ता के बाद एक एक हेड कांस्टेबल हरिराम के निलंबन व एक हैड कांस्टेबल सियाराम व एक कांस्टेबल केदार को लाइन हाज़िर करने पर सहमति बनी तब राजस्थान कानूनगो प्रदेश अध्यक्ष सुरेश पाल सिंह ने धरना समाप्ति और काम पर लौटने की घोषणा की।
ज्ञात रहे देवी धौलागढ़ में प्रसाद चढ़ाने के विवाद को लेकर पुलिस द्वारा वहां ड्यूटीरत राजस्व कार्मिकों के साथ मारपीट के बाद एसएचओ व दोषी पुलिसकर्मियों के विरुद्ध कार्रवाई के लिए कानूनगो, पटवारियों, ग्राम सेवकों ने धरना दिया और दोषी पुलिसकर्मियों के माफ़ी मांगने व निलंबन नहीं करने पर गुरुवार से जिला मुख्यालय पर धरना देने की चेतावनी दी थी। इस बीच एडीएम बीना महावर, एएसपी डॉ.प्रियंका, एसडीएम श्याम सुंदर चेतीवाल, डीएसपी कैलाश जाट, तहसीलदार मदन जाट, कठूमर एसएचओ महेश तिवाड़ी सहित कई अधीकारियो ने मामले के समाधान के लिए दिन के बारह बजे से लगातार रात्रि ग्यारह बजे तक मैराथन बैठक की। इधर धौलागढ़ मंदिर के पंडों व महंतों ने जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंप देवी मंदिर धौलागढ़ में पूजा-अर्चना व भोग प्रसादी में व्यवधान डालने पर तहसीलदार मदन जाट, पटवारी दीलिप, उत्तम, राहुल को निलम्बित करने की कार्रवाई की मांग की। पंडों ने कलेक्टर को सौंपे ज्ञापन में देवी धौलागढ़ में ड्यूटी में तैनात राजस्व कार्मिकों ने उनके कामकाज में दख़लंदाज़ी करने व अभद्रतापूर्ण व्यवहार कर उन्हें भगाने का आरोप लगाया।
उल्लेखनीय है कि देवी धौलागढ़ में आयोजित किए जा रहे लक्खी मेले के दौरान चढ़ावे व अव्यवस्थाओ को लेकर मंदिर के पंडो व प्रशासन के बीच टकराव के बीच पुलिस हस्तक्षेप के दौरान वहां ड्यूटी पर तैनात राजस्व विभाग के कार्मिकों ने पुलिस पर मारपीट करने व अभद्र व्यवहार कर गाड़ी में ले जाने का आरोप लगाया और आरोपी पुलिसकर्मियों के निलंबन की मांग को लेकर एसडीएम कार्यालय पर धरना दिया था। इधर दूसरे पक्ष मंदिर महंत ने भी तहसीलदार व राजस्व कार्मिकों के विरुद्ध जबरदस्ती भोग प्रसादी में हस्तक्षेप कर पंडों से अभद्रता पूर्ण व्यवहार करने का मामला दर्ज कराया था ।