अलवर (मनीष अरोडा़): राम मंदिर स्थापना दिवस पर भाजपा के पूर्व विधायक ज्ञानदेव आहूजा की टिप्पणी पर विवाद को लेकर आयोजित जिला कांग्रेस के द्वारा आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में कांग्रेस खुद ही अपने बयानों में उलझती नजर आई। दरअसल, मामला यह है कि अलवर जिला कांग्रेस कमेटी के द्वारा एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की गई, जिसमें राजस्थान के नेता प्रतिपक्ष टीकाराम जूली को केवल एक जाति विशेष का नेता न बताकर सर्व समाज का नेता बताया गया। कांग्रेस जिला अध्यक्ष योगेश मिश्रा ने भाजपा पर आरोप लगाया कि गौ भक्तों की सरकार में गाय माता कूड़ा खाते सड़कों पर घूम रही है। कांग्रेस नेताओं ने आहूजा के बयान पर कड़ी आपत्ति दर्ज कराई लेकिन ताज्जुब की बात यह है कि जब एक पत्रकार ने पत्रकार वार्ता में कांग्रेस जिलाध्यक्ष से यह सवाल पूछा कि क्या किसी पार्टी के नेताओं के द्वारा राम के अस्तित्व पर सवाल उठाए थे और क्या किसी नेता के द्वारा रामसेतु होने के सबूत मांगे गये थे, इस पर कांग्रेस के जिला अध्यक्ष योगेश मिश्रा ने जानकारी में न होने की बात कही। जब पत्रकार ने इसी सवाल को दोहराया और पूछा कि राम के काल्पनिक होने का बयान क्या किसी नेता ने कभी दिया है तो जिला अध्यक्ष योगेश मिश्रा ने जोर देकर कहा यह मेरे संज्ञान में नहीं है। अगर किसी पार्टी के नेता ने राम के अस्तित्व पर सवाल उठाए हैं तो यह उनके व्यक्तिगत विचार हो सकते हैं। अब मेरे संज्ञान में आया है तो मैं पता करूंगा। ताज्जुब की बात यह है कि जिला कांग्रेस के संज्ञान में उनके शीर्ष नेताओं के बयान ही जहन में नहीं है।
गौरतलब है कि अपनी टिप्पणी के कारण विवादों में घिरे भाजपा के पूर्व विधायक आहूजा ने कांग्रेस के शीर्ष नेताओं पर राम के अस्तित्व होने का सबूत मांगने का आरोप लगाया था, जिसके चलते कांग्रेस ने यह प्रेस कांफ्रेंस आयोजित की थी, जिसमें कांग्रेस जिलाध्यक्ष ने राम के अस्तित्व होने के सवाल पर अनभिज्ञता जाहिर करते हुए ऐसे किसी तरह के बयान के जानकारी में न होने की बात कही। बहरहाल, राम के अस्तित्व के सवाल पर कांग्रेस जिला अध्यक्ष का जवाब पत्रकारों को संतुष्ट नहीं कर पाया।