झुंझुनूं (राजेन्द्र शर्मा झेरलीवाला): मानसून के मद्देनज़र संभावित बाढ़ एवं जलभराव की स्थिति से निपटने के लिए जिला प्रशासन पूरी तरह सतर्क है। शुक्रवार को जिला कलेक्टर रामावतार मीणा की अध्यक्षता में समीक्षा बैठक आयोजित की गई, जिसमें सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों ने भाग लिया। बैठक में मानसून के दौरान संभावित आपात स्थितियों के नियंत्रण हेतु एनडीएमए की गाइडलाइंस के अनुरूप उपायों की समीक्षा की गई। कलेक्टर ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे जलभराव संभावित क्षेत्रों का स्वयं निरीक्षण कर वहां बाढ़ से सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम समय रहते सुनिश्चित करें। बैठक में जिला कलेक्टर रामावतार मीणा ने जल संसाधन विभाग को जिले के प्रमुख तालाबों की सफाई व जल निकासी के कार्य पूर्ण करने के निर्देश दिए। स्वास्थ्य विभाग को मौसमी बीमारियों के मद्देनजर दवाओं के स्टॉक, डॉक्टरों व मोबाइल यूनिट्स की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए। उन्होंने शिक्षा विभाग, सार्वजनिक निर्माण विभाग को स्कूलों व सार्वजनिक भवनों की जांच कर आवश्यक सुधार कार्य तुरंत पूरा करने को कहा। जनस्वास्थ्य अभियांत्रिकी विभाग (PHED) को शुद्ध पेयजल की निर्बाध आपूर्ति के लिए विशेष तैयारियां करने के निर्देश दिए।
नगर पालिका एवं ग्राम पंचायतों को ड्रेनेज सिस्टम, नालियों की सफाई, मच्छरनाशक दवा छिड़काव व कचरा निस्तारण कार्य शीघ्र करने के निर्देश दिए। वहीं पशुपालन विभाग को पशु शिविरों, वैक्सीन व चारे की व्यवस्था करने के निर्देश दिए गए। जिला कलेक्टर ने कहा कि सिविल डिफेंस व होमगार्ड्स की सूची अद्यतन करने को कहा गया है। जिला कलेक्टर ने निर्देश दिए की प्रत्येक ब्लॉक स्तर पर आपदा नियंत्रण कक्ष 15 जून से कार्यशील करें। कलेक्टर ने बताया कि वर्षा व जलभराव की स्थिति में नागरिकों को समय रहते अलर्ट करने हेतु सूचना तंत्र को मजबूत किया जाएगा। किसी भी आपदा की स्थिति में संबंधित विभाग तत्परता से राहत कार्य करें, यह सुनिश्चित किया जाएगा।
बैठक में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक देवेंद्र राजावत, उपवन संरक्षक उदाराम सियोल, झुंझुनूं एसडीएम हवाई सिंह यादव, सीएमएचओ डॉ.छोटेलाल गुर्जर, तहसीलदार महेंद्र मुंड, पशुपालन विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ.शिवरतन, जिला रसद अधिकारी डॉ.निकिता राठौड़, कृषि विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ.राजेंद्र सिंह लांबा, नगर परिषद आयुक्त दिलीप पूनिया सहित संबंधित अधिकारी मौजूद रहे।