जयपुर (श्रीराम इंदौरिया): पाकिस्तान और आतंकवादियों द्वारा विगत दिनों कश्मीर के पहलगाम क्षेत्र में जिस प्रकार से कायराना हरकत को अंजाम दिया गया और बेगुनाह देशवासियों का खून किया गया, वह बेहद निंदनीय कृत्य था, जिसको अंजाम दिया गया था। इस घटना का मुंहतोड़ जवाब देना बनता था। जिस प्रकार से भारत सरकार ने पाकिस्तान और आतंकवादियों को सबक सिखाया जा रहा है, वह डर, नफरत, दशहत के खात्मे के लिए बेहद जरूरी कदम है। भारत सरकार और देश की आर्मी ने पाकिस्तान को पाकिस्तान की भाषा में जवाब दिया है, जो समय की मांग है। सामाजिक कार्यकर्ता अभिषेक जैन बिट्टू ने कहा कि पाकिस्तान को अपनी हरकतों से बाज आकर पाकिस्तान के विकास की दिशा में कदम बढ़ाने चाहिए किंतु डर, नफरत और दहशत की लालसा पाले बैठा पाकिस्तान केवल आतंकवाद का संरक्षक बनकर देश और दुनिया में अपनी पहचान खोता जा रहा है। पाकिस्तान को यह कभी नहीं भूलना चाहिए कि उसका अस्तित्व केवल 1947 से है जबकि भारत का अस्तित्व युगों से है, भारत अहिंसक देश है लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि वह हिंसा का जवाब देना नहीं जानता, भारत केवल सब्र रखता है लेकिन उसकी भी एक मर्यादा है और पाकिस्तान बार-बार देश की मर्यादा पर वार कर अपनी कब्र खुद खोद रहा है। पाकिस्तान को अब खुद तय करना है कि उसका भविष्य क्या होगा और कैसे होगा, अगर जंग चाहिए जंग और उसे अपना जमीर चाहिए तो जमीर मिलेगा। इन दोनों ही हसरतों में आतंक का अंत तय करना होगा। जंग करेगा तो भारत आतंक को खत्म कर देगा और जमीर चाहिए तो पाकिस्तान को खुद को आतंक का अंत तय करना होगा। हम 150 करोड़ भारतीय जिस दिन जंग के लिए आगे बढ़ जाएंगे तो पाकिस्तान को अपना अस्तित्व छुपाने के लिए जमीन भी नसीब नहीं हो पाएगी। पाकिस्तान के लिए बेहतर यही है कि वह अपने अस्तित्व की सुरक्षा और संरक्षण करे। बार-बार मर्यादा उलंघन कर देश की अस्मिता से ना खेले अन्यथा पाकिस्तान को उसी की भाषा में लगातार जवाब दिया जाएगा। बेहतर है पाकिस्तान का अपना इतिहास भी देख लेना चाहिए जिसमें हर बार उसे मुंह की खानी पड़ी है।
डर, नफरत, दहशत को खत्म करना है तो आतंक का खात्मा बहुत जरूरी है, भारत ने पाकिस्तान को उसकी भाषा में जवाब दिया, पाकिस्तान खुद तय करे उसे जंग चाहिए या जमीर: अभिषेक जैन बिट्टू
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May 08, 2025
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